असंयमित मन शत्रु के समान है और संयमित मन मित्र के समान है। अर्थात हमें अपने मन की प्रक्रिया के विषय में एक स्पष्ट धारणा रखने की आवश्यकता है। संयमित मन सफलता का आधार है। संयमित मन से निर्धारित किये हुए हर लक्ष्य तक पहुंचा जा सकता है और एक सुखद, स्वस्थ एवं सफल जीवन हम जी सकते हैं।
मन सबसे चंचल है। इस चंचल मन को निरंतर अभ्यास के माध्यम से हम संयमित कर सकते हैं। आज इस निबंध मैं आप सभी के कुछ महत्वपूर्ण टिप्स साझा करूंगी। हम अपने मन को कैसे नियंत्रित कर सकते हैं?मन को नियंत्रित करना एक कला है और इस कला को हम कैसे सीख सकते हैं?
1.ध्यान एवं योग : "मन के हारे हार है और मन के जीते जीत "अर्थात नियंत्रित मन के माध्यम है, जीवन की ऊँचाईयों तक पहुँच सकते हैं और अनियंत्रित मन से जीवन में हम कभी सफल नहीं हो सकते हैं। अनियंत्रित मन को नियंत्रित नियमित रूप से ध्यान और योग करने से नियंत्रित कर सकते हैं। इसलिए प्रतिदिन प्रात: काल मेडिटेशन करें। ध्यान एवं योग के जरिये एकाग्रता की शक्ति बढ़ती है। एकाग्रता एवं मन की शक्ति के लिए ध्यान एवं योग को अपने दिनचर्या में शामिल करें। ध्यान एवं योग मानसिक एवं शारीरिक स्वास्थ्य दोनों के लिए लाभदायक है।
2. सकारात्मक सोच : मनुष्य विचारों से निर्मित प्राणी है, जैसा वह सोचता है वैसा वह बन जाता है।जैसा हम सोचते उसी भांति करते है और आज जो हम करते हैं, उसी से हमारा भविष्य निर्धारित होता है। इसलिए हमें यह अवश्य रूप से यह पता होना चाहिए कि हम अपना समय कहाँ व्यय कर रहें हैं? असंयमित मन नकारात्मक विचारों, नकारात्मक कार्यों से पूर्ण रहता है। इस असंयमित मन को संयमित मन में बदलने के लिए दूसरा महत्वपूर्ण तरिका है कि हम सकारात्मक विचारों से लेकर सकारात्मक लोगों का चयन करें। सकारात्मकता में अद्भुत शक्ति है।जिससे हमारे दृष्टिकोण में, कार्य में सकारात्मक बदलाव आने लगता है। सकारात्मक विचारों, दृष्टिकोण एवं कार्यों से तनाव, चिंता कम होने लगती है। तनावमुक्त, हर्षपूर्ण जीवन जीने के लिए नियंत्रित अत्यंत आवश्यक है। सदैव प्रयास एवं अभ्यास करें अपने जीवन को सकारात्मकता से पूर्ण करने का।
3. लक्ष्य एवं समय : लक्ष्य के बिना जीवन जीना व्यर्थ है। लक्ष्य के आभाव जीवन मूल्यहीन है। जब जीवन में सार्थक एवं ऊँचा लक्ष्य रहता है, तब हम अपने समय एवं ऊर्जा सदुपयोग करते हैं। अपनी रूचि के अनुसार लक्ष्य निर्धारित करें और उस लक्ष्य तक पहुँचने के लिए योजना बनाएं। एक स्ट्रांग प्लानिंग के माध्यम से आप अपने लक्ष्य तक शीघ्र ही पहुँच सकते हैं।
अपने 24 घंटे का प्रतिदिन आकलन करें कि आपका समय कहाँ व्यय हो रहा हैं? समय सबसे गतिशील है। बीता हुआ समय कभी लौट कर नहीं आता। इसलिए अपने समय का कुशलता से उपयोग करें। रात को सोने से पहले अगले दिन के लिए प्लानिंग करें। यह एक अच्छा माध्यम है, जिससे आप अपने समय का कुशलतापूर्वक उपयोग कर सकते हैं।
4. स्वास्थ्य एवं अन्य : कुशल स्वास्थ्य हमारे जीवन की सबसे बड़ी पूंजी है। शारीरिक एवं मानसिक स्वास्थ्य को कुशल बनाने के लिए स्वस्थ जीवन शैली को अपनाये। जिसके अंतर्गत आप स्वस्थ एवं उचित आहार का सेवन करें, नियमित रुप से व्यायाम करें, पर्याप्त नींद लें, अच्छी किताबों का अध्ययन करें, (जिससे ज्ञान,कौशल इत्यादि में उन्नति होगा )
रील्स, सोशल मीडिया इन सभी के फेक दुनिया से निकलकर खुद का वास्तविक रुप से विश्लेषण करें। रील्स देखने में,अपने पोस्ट पर लाइक्स देखकर खुद का विश्लेषण करना इन सभी से खुद को दूर कीजिये। खाली समय में खुद को व्यस्त रखने के लिए कोई शौक या गतिविधि शुरू करें। नए - नए कौशल, हॉबी इन सभी क्रियाओं में अपने समय को व्यय करें। इन गतिविधियों के जरिये एकाग्रता की शक्ति एवं कौशल में उन्नति होंगी।
यह कुछ महत्वपूर्ण टिप्स है, संयमित मन के लिए। उपरोक्त टिप्स के अलावा हैं - अच्छे लोगों के साथ रहें, दूसरों को क्षमा करें, आभार प्रकट करें, अपने आप पर विश्वास करें, अपनी सीमाओं को जानें एवं जब आप प्रतिदिन निर्धारित किये हुए लक्ष्य को पूर्ण कर लें, तब खुद को पुरस्कृत करें।
धन्यवाद
काजल साह
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